कहीं से देखो
सब तरफ से ज़िन्दगी
अलग नज़र आएगी
ज़िन्दगी एक जुबां है
जो सिरफिरों को समझ आएगी
आंधी में जो उड़ जाए उन्हें हौसला
नहीं कहते
होश बाकी हो जब तक
जीत
नज़र आएगी
किसीने क्या कहा
क्यूं कहा
इस बात पे तवज्जो मत देना
ज़िन्दगी वर्ना
अपने हाथ से
फिसल जाएगी
ये दिल है इसे बचा के रखना
अपने लिए
ये दौलत है
दूसरे हाथ गयी
धुंध पे पाँव रख के सोने वालों
एक ओंस की चादर
हथेली पे भी जम जाएगी
ज़िन्दगी क्या है
अभी कैसे जाने
आखिरी लम्हे में
हर बात समझ आएगी
मेरी बातों में न दुआ है
न बददुआ है तुम्हारे लिए
मेरे कहने से कौन सी सूरत
बदल जाएगी
अपनी हसरत को
कलेजे में छुपा के रखना
ये बड़ी चीज़ है किस को
समझ आएगी...
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